मनोकामना कालसर्प,शनि साढ़ेसाती,मनोकामनापूर्ण,सुखद दाम्पत्य जीवन के लिए कैसे करे सोमवार व्रत


*मनोकामना पूर्ण और सुखद दाम्पत्य जीवन कालसर्प शनि साढ़ेसाती आदि की पीड़ा शांति के लिए सावन के सोमवार व्रत इस बार सोमवार से शुरू होकर सोमवार को ही समाप्त*
 श्रावण महीना   भोलेनाथ अर्थात भक्तों द्वारा शिवजी का महीना कहा गया है इस बार श्रावण महीने  की शुरुआत 06 जुलाई सोमवार से हो रही है जो पहला सोमवार है और इसकी समाप्ति भी 03 अगस्त सोमवार को ही होगी।
 इस बार पांच सोमवार होंगे पहला 06 जुलाई को दूसरा 13 जुलाई को तीसरा  20 जुलाई को  चौथा 27 जुलाई को और पांचवा 03 अगस्त को आखरी सावन का सोमवार होगा।
 ज्योतिषाचार्य हुकुमचंद जैन  ने यह जानकारी देते हुए कहा कि श्रावण माह में इस बार पांच सोमवार होने से इनकी  शुरुबात, समाप्ति, सोमवती अमावस्या, सोमवती पूर्णिमा को होगी। प्रथम सोमवार को श्रवण नक्षत्र का संयोग भी इस बार है। इस वजह से वर्षा काल में इस बार अच्छी वर्षा होगी वर्षा ऋतु की फसल अच्छी होगी प्रजा में सुख शांति बढ़ती है और धन धान्य की वृद्धि समृद्धि होती है। इस माह  के सोमवार का विधिपूर्वक व्रत उपवास करने पर शिव के भक्तों की मनोकामना पूर्ण होती है अभी तक जिनकी शादी नहीं हुई या विवाह में रुकावट आती हैं तो वह दूर होती हैं और विवाह होने के योग बनते हैं और जिनकी शादियां हो चुकी हैं उनका सुखद दांपत्य जीवन रहता है शिवजी अच्छे वर का वरदान देते हैं। 
साथ ही जिनकी पत्रिका में काल सर्प योग है। शनि की साढ़ेसाती, ढैया महादशा अंतर्दशा से परेशानी है वह भी दूर होती है।
 *सोमवार व्रत कब और कैसे करे:-* सावन सोमवार व्रत इस महीने में जो सोमवार को व्रत रखे जाते हैं उसे सावन सोमवार व्रत कहते हैं और सावन के पहले सोमवार से सोलह सोमवार तक व्रत रखे जाते हैं उन्हें सोलह सोमवार व्रत कहा जाता है।
  *व्रत और पूजन  विधि:-* सुबह जल्दी उठकर स्नानादि से निवृत्त होकर स्वच्छ कपड़े पहन कर शिव मंदिर जाकर शिवलिंग पर जल अर्पित करें फिर सामने शांति से बैठ कर व्रत का संकल्प लें दिन में दो बार सुबह शाम शिव पार्वती जी की अर्चना करें शिव के सामने तिल के तेल का दीपक प्रज्वलित करें और फल फूल अर्पित करें ओम नमः शिवाय मंत्र का उच्चारण करते हुए शिवजी को सुपारी, पंचामृत, बेल पतिया चढ़ाएं सावन सोमवार व्रत कथा का पाठ करें और दूसरों को भी व्रत कथा सुनाएं शाम को पूजा के बाद व्रत खोलें इस प्रकार सावन माह के सोमवार का व्रत व अन्य सोमवार व्रत विधि विधान से करने से हर मनोकामना पूर्ण होती है और जिनके विवाह में परेशानियां आती हैं या दांपत्य सुख में कमी रहती है उनकी परेशानियां दूर होती हैं साथ ही कालसर्प योग,शनि साढेसाथ, शनि की ढैया महादशा-अंतर्दशा की पीड़ा भी शांत होती है।


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