कोविड के खिलाफ लड़ाई में प्राइवेट अस्पतालों का भी सहयोग लिया जाएगा

संभाग आयुक्त एवं कलेक्टर ने ली प्राइवेट अस्पतालों के संचालकों की बैठक 
प्रथम चरण में 50 बैड की क्षमता वाले प्राइवेट अस्पतालों को मिलेगी मरीज भर्ती करने की अनुमति 

रविकांत दुबे AD News 24

ग्वालियर / कोरोना की तीसरी लहर के खिलाफ लड़ाई में सरकारी अस्पतालों के साथ-साथ जिले के प्राइवेट अस्पतालों का भी सहयोग लिया जायेगा। उपलब्ध बैड, आईसीयू और ऑक्सीजन की उपलब्धता के आधार पर चरणबद्ध ढंग से प्राइवेट अस्पतालों में मरीज भर्ती कराए जायेंगे। इसके लिए अस्पतालों की तीन कैटेगिरी बनाई गई हैं। इस आशय की जानकारी संभाग आयुक्त श्री आशीष सक्सेना एवं कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह की मौजूदगी में आयोजित हुई शहर के प्राइवेट अस्पताल व नर्सिंग होम के संचालकों की बैठक में दी गई। विभिन्न प्राइवेट अस्पतालों के प्रबंधन ने बैठक में भरोसा दिलाया कि कोरोना की तीसरी लहर को परास्त करने में प्राइवेट अस्पताल भी पुरजोर सहयोग देंगे। 

बैठक में तय किया गया कि प्रथम चरण में ऐसे निजी अस्पतालों व नर्सिंग होम में कोरोना मरीज भर्ती करने की अनुमति रहेगी, जिनमें कम से कम 50 बैड की क्षमता है। अस्पतालों को मरीजों के भर्ती करने से पूर्व सार्थक पोर्टल पर अनिवार्यत: नोटिफिकेशन कराना होगा। जरूरत होने पर दूसरे चरण में कम से कम 30 बैड और तीसरे चरण में 30 बैड से कम क्षमता वाले प्राइवेट अस्पतालों को कोविड मरीजों का इलाज कर सकेंगे। जिन प्राइवेट अस्पतालों को कोविड अस्पताल के रूप में अधिकृत किया जाएगा वहाँ उपलब्ध सुविधाओं व  व्यवस्थाओं का सत्यापन करने जिला प्रशासन की विशेष टीम जायेगी। व्यवस्थायें ठीक होने पर ही वहां पर कोविड मरीज भर्ती करने की अनुमति मिलेगी। प्रथम चरण में अपोलो हॉस्पिटल, बीआईएमआर (बिरला), केडीजे, सिम्स, लिंक, नवजीवन, आईटीएम, मानसरोवर केयर, महेश्वरी नर्सिंग होम व कल्याण इत्यादि हॉस्पिटल के प्रबंधन ने कोविड मरीजों के इलाज की सुविधा उपलब्ध कराने के लिये अपने नाम जिला प्रशासन को लिखाए हैं। 

संभाग आयुक्त श्री सक्सेना एवं कलेक्टर श्री सिंह ने बैठक में मौजूद प्राइवेट अस्पतालों के प्रबंधन से कहा कि वे पूरी संवेदनशीलता के साथ आयुष्मान कार्डधारी मरीजों का इलाज भी करें। इसके लिये उन्हें सरकार से भुगतान मिलेगा। अधिकारी द्वय ने मजबूत रेफरल सिस्टम बनाने पर भी बल दिया। साथ ही कहा कि मरीज को रेफर करने की जानकारी संबंधित अधिकारियों को अवश्य दें, साथ ही मरीज के परिजनों को भी बताएं कि उसे कहां के लिये रेफर किया गया है, जिससे उसका संबंधित अस्पताल में तत्काल इलाज शुरू हो सके।  

बैठक में जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री आशीष तिवारी, मेडीकल कॉलेज के डीन डॉ. समीर गुप्ता, अपर कलेक्टर श्री इच्छित गढ़पाले, डब्ल्यूएचओ के प्रतिनिधि डॉ. राजावत, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मनीष शर्मा एवं कार्यक्रम अधिकारी महिला-बाल विकास श्री राजीव सिंह सहित अन्य संबंधित अधिकारियों सहित शहर के विभिन्न प्राइवेट अस्पताल एवं नर्सिंग होम के संचालकगण मौजूद थे। 

टेली-मेडीसिन की सुविधा भी मुहैया कराएँ 

कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने बैठक में मौजूद प्राइवेट अस्पतालों के संचालकों से आग्रह किया कि पूर्व की तरह इस बार भी कोरोना मरीजों को टेली-मेडीसिन (वीडियो कॉलिंग एवं टेलीफोन) की सुविधा मुहैया कराने में मदद करें। जिला प्रशासन द्वारा भी स्मार्ट सिटी के कंट्रोल रूम सह एकीकृत कमाण्ड एण्ड कंट्रोल सेंटर के माध्यम से यह सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। कलेक्टर श्री सिंह ने आईएमए से भी नि:शुल्क रूप से यह सुविधा देने के इच्छुक चिकित्सकों के नाम मांगे हैं। 

नर्सिंग कॉलेज कोविड मरीजों के इलाज की पुख्ता व्यवस्था रखें 

कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने सोमवार को नर्सिंग कॉलेजों के संचालकगणों की बैठक भी ली। उन्होंने सभी नर्सिंग कॉलेज संचालकों को साफतौर पर ताकीद किया कि कोविड मरीजों के इलाज के लिये ऑक्सीजन सहित सभी व्यवस्थायें पुख्ता हों। उन्होंने कहा आवश्यकता पड़ने पर सबसे पहले नर्सिंग कॉलेज में ही मरीज भर्ती कराए जायेंगे। मरीजों को कोई तकलीफ नहीं होना चाहिए। जिला प्रशासन की टीमों द्वारा हर नर्सिंग कॉलेज की व्यवस्थाओं की बारीकी से जांच की जायेगी। 


कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

Featured Post

26 अक्टूबर 2024, शनिवार का पंचांग

*सूर्योदय :-* 06:30 बजे   *सूर्यास्त :-* 17:39 बजे  *विक्रम संवत-2081* शाके-1946  *वी.नि.संवत- 2550*  *सूर्य -* सूर्यदक्षिणायन, उत्तर  गोल  ...