बाबा साहब की दूरदर्शिता से भारतीय लोकतंत्र को मजबूती मिली – कुशवाह
अजाक्स कार्यालय परिसर में समारोहपूर्वक मनी बाबा साहब अम्बेडकर जी की 131वीं जयंती
राज्य सरकार के मंत्री तोमर व कुशवाह एवं बीज निगम के अध्यक्ष गोयल हुए शामिल
ग्वालियर / बाबा साहब ने अच्छी भावनाओं के साथ और सभी के कल्याण को ध्यान में रखकर संविधान बनाया था। इसी के फलस्वरूप हम सभी को न्याय और सम्मानपूर्वक अपना हक मिल रहा है। इस आशय के विचार ऊर्जा मंत्री श्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने व्यक्त किए। श्री तोमर अजाक्स द्वारा बाबा साहब डॉ. भीमराव अम्बेडकर जी की 131वीं जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री भारत सिंह कुशवाह ने कहा कि बाबा साहब की दूरदर्शिता की वजह से ही भारत का लोकतंत्र मजबूत हुआ है। समारोह की अध्यक्षता राज्य बीज एवं फार्म विकास निगम के अध्यक्ष श्री मुन्नालाल गोयल ने की।
गुरूवार को यहाँ ठाठीपुर स्थित अजाक्स (अनुसूचित जाति – अनुसूचित जनजाति अधिकारी एवं कर्मचारी संघ) कार्यालय परिसर में बाबा साहब डॉ. भीमराव अम्बेडकर की जयंती समारोहपूर्वक मनाई गई। इस अवसर पर चिकित्सकों, शिक्षाविद्, समाजसेवियों एवं उत्कृष्ट कार्य करने वाले अधिकारियों व कर्मचारियों को अतिथियों ने अजाक्स की ओर से सम्मानित किया। साथ ही चित्रकला सहित अन्य प्रतियोगिता के विजेता बच्चों को भी प्रमाण-पत्र प्रदान किए। कार्यक्रम में भारतीय प्रशासनिक सेवा के सेवानिवृत्त वरिष्ठ अधिकारी एवं जीडीसीए के अध्यक्ष श्री प्रशांत मेहता, अपर कलेक्टर श्री एच बी शर्मा, वरिष्ठ चिकित्सक डॉ. दिनेश उदैनिया, अजाक्स के जिला अध्यक्ष एवं कार्यक्रम संयोजक चौधरी मुकेश मौर्य मंचासीन थे।
ऊर्जा मंत्री श्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि यदि हम सहज भाव से बाबा साहब द्वारा बताई गईं बातों का अनुशरण करें तो सभी का कल्याण होगा। साथ ही यह बाबा साहब के प्रति सभी की सच्ची श्रद्धांजलि भी होगी। उन्होंने कहा जरूरतमंद को उसका हक आसानी से मिल जाए और किसी के हक पर अतिक्रमण न होने दें तो हम सही मायने में संविधान का पालन कर पायेंगे। इसी सोच के साथ हमें अपने दायित्वों का निर्वहन करना चाहिए।
उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री भारत सिंह कुशवाह ने कहा कि बाबा साहब ने हमें विश्व का सबसे ताकतवर संविधान बनाकर सौंपा है। इसी कारण भारत का लोकतंत्र पूरी दुनिया के सामने मजबूती के साथ खड़ा है। उन्होंने कहा केन्द्र व राज्य सरकार बाबा साहब द्वारा बताए गए मार्ग पर चलकर जनकल्याण में जुटीं हैं। श्री कुशवाह ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी द्वारा देश की राजधानी में बाबा साहब की स्मृति को संजोने और उनके कृतित्व से जन-जन को अवगत कराने के उद्देश्य से जमीन खरीदकर एक विशाल परिसर का निर्माण किया जा रहा है। इसी तरह प्रदेश सरकार ने मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में बाबा साहब की जन्मस्थली को सजाया और संवारा है।
बीज एवं फार्म विकास निगम के अध्यक्ष श्री मुन्नालाल गोयल ने कहा कि बाबा साहब ने श्रेष्ठतम संविधान बनाकर सभी को सम्मान के साथ जीने का हक दिलाया है। बाबा साहब द्वारा असमानता, छुआछूत व अन्याय के खिलाफ किया गया संघर्ष हम सभी को मानव सेवा पथ पर आगे बढ़ने की प्रेरणा देता है।
आरंभ में सभी अतिथियों ने अजाक्स कार्यालय परिसर में बाबा साहब अम्बेडकर जी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की। स्वागत उदबोधन कार्यक्रम संयोजक एवं अजाक्स के जिला अध्यक्ष चौधरी मुकेश मौर्य ने किया। उन्होंने अजाक्स की ओर से एक ज्ञापन भी अतिथियों को सौंपा। सभी अतिथियों ने भरोसा दिलाया कि ज्ञापन में उल्लेखित माँग को पूरा करने के लिये गंभीरता के साथ प्रयास किए जायेंगे। कार्यक्रम का संचालन डॉ. कृष्णा सिंह ने किया। इस अवसर पर उराँव जनजाति के कलाकारों द्वारा मनोहारी लोकनृत्य की प्रस्तुति भी दी गई।
इनका हुआ सम्मान
डॉ. डीके शाक्य नेत्र चिकित्सक, डॉ. जीएस गुप्ता चिकित्सक, डॉ. अनिल सक्सैना प्रभारी कुलसचिव राजमाता विजयाराजे सिंधिया कृषि विश्वविद्यालय, डॉ. दीपक पांडेय उप संचालक लोक शिक्षण, डॉ. केशव सिंह गुर्जर डीसीडीसी जीवाजी विश्वविद्यालय, प्रो. एस के द्विवेदी अधिष्ठाता छात्र कल्याण जीवाजी विश्वविद्यालय, डॉ. मिलन सिकरवार दंत चिकित्सक, डॉ. इंद्र कुमार बाथम चिकित्सक, डॉ. शिवसिंह कनेरिया एमडी रेडियोडायग्नोसिस्ट, सर्वश्री श्यामलाल बरेलिया, रामनरेश विमल वरिष्ठ समाजसेवी, राकेश नायक प्रदेश अध्यक्ष अध्यापक संघ, मनोज कुमार मुख्य प्रबंधक पंजाब नेशनल बैंक, डॉ. के आर खांडे दंत चिकित्सक, पवन दीक्षित स्वच्छता कार्यकर्ता, प्रो. हेमलता आर्य, डॉ. ओमप्रकाश माहौर, हरिनारायण जाटव, मंगल राम भगत, गंगाराम मेहता, ओमप्रकाश करोसिया, प्रकाश चंद, लक्ष्मण सिंह अलपुरिया व रामप्रसाद बसेड़िया ।
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