गारबेज शुल्क के युक्तियुक्तकरण का हुआ निर्णय, इसका आदेश शीघ्र आयेगा : मुख्यमंत्री चौहान

चेम्बर ऑफ कॉमर्स के लिए ऐतिहासिक दिन प्रदेश के मुख्यमंत्री द्बारा व्यापार-उद्योग हित में की गईं कई घोषणाएं

ग्वालियर अंचल के व्यापारिक-औद्योगिक विकास पर ‘चेम्बर भवन` में संवाद आयोजित

ग्वालियर 10 सितम्बर। ग्वालियर अंचल के व्यापारिक-औद्योगिक विकास पर संवाद का आयोजन आज दोपहर 3.00 बजे ‘चेम्बर भवन` में किया गया। इस अवसर पर केन्द्रीय नागर विमानन एवं इस्पात मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया, प्रदेश के जलसंसाधन विकास एवं ग्वालियर के प्रभारी मंत्री तुलसी सिलावट, ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर, सांसद ग्वालियर विवेक नारायण  शेजवलकर की विशिष्ट अतिथि के रूप में गरिमामयी उपस्थिति रही। 

कार्यक्रम में सर्वप्रथम अतिथियों को फलों की टोकरी भेंट कर, पदाधिकारियों द्बारा स्वागत किया गया। 


अतिथियों के सम्मान में स्वागत उद्बोधन अध्यक्ष-डॉ. प्रवीण अग्रवाल द्बारा दिया गया। आपने इस अवसर पर निम्नलिखित मांगों/सुझावों को मुख्यमंत्री  के समक्ष प्रस्तुत किया:-

1. गारबेज शुल्क का युक्तियुक्तकरण किया जाए। 

2. प्रोफेशनल टैक्स को समाप्त किया जाए। 

3. औद्योगिक क्षेत्रों को सम्पत्ति कर से मुक्त रखा जाए।

4. ट्रांसपोर्ट नगर में उच्च गुणवत्ता की सीमेंट कांक्रीट सड़क बनाई जाए।

5. माधव प्लाजा में जीडीए द्बारा की गई गलती निवेशकों पर न थोपी जाए। 

6. व्यापारियों पर लगे मुकदमे वापिस लिए जाएं। 

7. मण्डी व्यापारियों की समस्याओं का निराकरण किया जाए। 

महत्वपूर्ण सुझाव

1. जल कर के बकाया भुगतान के लिए सुविधा योजना लागू की जाए। 

2. व्यापारी सुरक्षा कानून बनाया जाए।

3. आपदा-विपदा राहत कोष बनाया जाए।

4. मध्यप्रदेश में औद्योगिक विकास के लिए बहुत आवश्‍यक है कि हमारे यहाँ लागू किसी भी कर की दर समीपवर्ती राज्यों से प्रतिस्पर्धात्मक हो, ताकि हमारे यहां बाहरी निवेश आने में समस्या उत्पन्न न हो।

5. शहर के प्रमुख क्षेत्र में स्थापित शासकीय आवास व कार्यालय शहर के बाहरी भाग में स्थापित किये जायें  

6. कोई भी निर्माण कार्य जब प्रारंभ किया जाये, तब उसके पूर्ण होने की अवधि सुनिश्‍चित की जाये।

7. सड़कों का निर्माण कार्य जब भी हो तो उसके दोनों ओर नाली का प्रावधान आवश्‍यक रूप से किया जाए, जिससे सड़कों की आयु लंबी हो सके। 

8. शिक्षा नीति में आवश्‍यक बदलाव करते हुए माध्यमिक शिक्षा  के बाद कानून की पढाई के साथ श्रीमद भागवत गीता का अंश भी पढाया जाना सुनिश्‍चित किया जाये 

9. सूखे नशे की बढती प्रवृत्ति और बढती अपराध पर रोक लगाई जाये:-

प्रशासनिक सुझाव

1. प्रत्येक विभाग में वास्तविक सिंगल विण्डो बनाकर निर्धारित समय में उसमें आये आवेदनों का निराकरण सुनिश्‍चित किया जाये। 

2. नगर निगम में नामांकन रजिस्ट्री कराते वक्त ऑटोमेटिक हो, इसके लिए व्यवस्था की जाए।

इस अवसर पर केन्द्रीय नागर विमान एवं इस्पात मंत्री-श्रीमंत ज्योतिरादित्य सिंधिया जी ने अपने उद्बोधन में कहा कि इस संस्था की स्थापना वर्ष 1906 में मेरे परदादा माधौ महाराज की प्रेरणा से की गई थी। देश के प्रधामंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी व प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह जी चौहान के नेतृत्व में देश और प्रदेश का विकास सुनिश्‍चित हुआ है। माननीय प्रधानमंत्री के नेतृत्व में विगत 9 वर्ष में आर्थिक शक्ति के रूप में हम 11नंबर से पांचवें नंबर पर आ गये हैं और आगामी वर्षों में हम जर्मनी और जापान को पछाड़कर 3 नंबर पर पहुंचेंगे। 2030 तक हम 5 ट्रिलियन डॉलर की इकॉनोमी होंगे और इस 5 ट्रिलियर डॉलर की इकोनॉमी में हमारे शिवराज सिंह जी ने निर्णय लिया है कि मध्यप्रदेश का योगदान 550 बिलियन डॉलर का होगा। मुख्यमंत्री जी व्यापार-उद्योग के महत्व को समझते हैं और उन्होंने ग्लोबल इंवेस्टर्स मीट के जरिये 15 लाख करोड़ रूपये के एमओयू साइन करवाये हैं। आपने मुख्यमंत्री जी से आग्रह किया कि चेम्बर ऑफ कॉमर्स ने जो मांगें रखी हैं वह जायज हैं। उन पर आज ही निर्णय लिया जाना चाहिए। 

प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह जी चौहान ने अपने उद्बोधन में कहा कि सिंधिया जी अत्यंत प्रतिभावान व्यक्ति हैं। किसी भी एयर टर्मिनल को बनने में ढाई से तीन साल लगते हैं लेकिन सिंधिया जी इस कार्य को एक वर्ष मेें पूर्ण करा रहे हैं। आपने कहा कि व्यापार-उद्योग के बिना न तो कोई राज्य चल सकता है और न ही देश। जी-20 में भी सहमति इस पर बन रही है ताकि व्यापार उद्योग के विकास का रास्ता सुनिश्‍चित हो सके। मैं व्यापारियों और उद्योगपतियों को बहुत सम्मान की दृष्टि से देखता हूँ। आपने कहा कि हम जो कुछ कर पाये वह इसलिए कर पाये क्योंकि सिंधिया जी हमारे साथ थे। आपने मध्यप्रदेश की प्रगति से अवगत कराते हुए कहा कि वर्ष 2003 में प्रति व्यक्ति आय केवल 11 हजार रूपये थी जो कि आज बढकर 1 लाख 40 हजार रूपये हो चुकी है। उस समय प्रदेश का बजट 21 हजार करोड़ रूपये का हुआ करता था। इस वर्ष हमने 3 लाख 14 हजार करोड़ रूपये का बजट पारित किया है। हम अन्य राज्यों के मुकाबले तेजी से प्रगति कर रहे हैं। प्रदेश की प्रगति के आंकड़ों में आप भी बराबरी के भागीदार हैं। आपके सहयोग से ही मध्यप्रदेश 5 ट्रिलियर डॉलर की अर्थव्यवस्था में 550 बिलियन डॉलर का योगदान देगा। आपने चेम्बर ऑफ कॉमर्स द्बारा रखी गई मांगों पर कहा कि किसी व्यापारी के यहां हुई आपदा पर सरकार को तात्कालिक सहायता दिये जाने की बात से सहमत हूँ और आपदा विपदा राहत कोष के तहत बिना ब्याज के ऋण दिये जाने की व्यवस्था की जायेगी। आपने गारबेज शुल्क पर कहा कि इसके युक्तियुक्तकरण का निर्णय लिया जा चुका है, शीघ्र ही इसका आदेश आयेगा। माधव प्लाजा में गलती किसी की और सजा किसी को यह नहीं होने दिया जायेगा। अगर ग्वालियर विकास प्रकाधिकरण की गलती है तो व्यापारी इसे क्यों भुगतेंगे, यह गलती आप पर नहीं थोपी जायेगी, इस पर मैं तत्काल निर्णय करूंगा। व्यवसायियों पर लगे मुकदमें वापिस लिये जायेंगे। खाद्य तेल इकाईयों को फिर से राहत प्रोत्साहन योजना प्रारंभ की जायेगी। ट्रांसपोर्ट नगर की सड़कों के लिए कहीं से भी फण्ड लाकर, आचार संहिता से पहले उनको दुरूस्त कराया जायेगा। व्यापारियों की सुरक्षा के लिए हम प्रतिबद्घ हैं, उसके लिए जो आपने कानून बनाने का सुझाव दिया है, उस पर कार्य किया जायेगा। नशे की प्रवृत्ति को रोकने का जो आपने सामाजिक सुझाव दिया है, उसमें कोई कसर नहीं छोड़ी जायेगी। सख्त से सख्त कार्यवाही की जायेगी। सिंगल विण्डो सिस्टम और रजिस्ट्री के साथ नामांकन के मुद्दे को गंभीरता से लिया जायेगा। आपने प्रोफेशनल टैक्स व औद्योगिक क्षेत्रों पर सैद्घांतिक सहमति व्यक्त की कहा कि इसका अध्ययन कर, रास्ता निकाला जायेगा। 

कार्यक्रम का संचालन कर रहे मानसेवी सचिव-दीपक अग्रवाल ने कहा कि आज चेम्बर ऑफ कॉमर्स के लिए ऐतिहासिक दिन है। प्रदेश के मुख्यमंत्री  शिवराज सिंह चौहान द्बारा व्यापार-उद्योग के विकास के लिए रखी गई हमारी मांगों पर मंच से ही घोषणा कर, उनके निराकरण का वादा किया है। इसके लिए हृदय से उनका स्वागत करते हैं। 

अंत में आभार कोषाध्यक्ष-संदीप नारायण अग्रवाल द्बारा व्यक्त किया गया। संवाद कार्यक्रम में पूर्व विधायक-श्री मुन्नालाल गोयल, नगर निगम सभापति-श्री मनोज सिंह तोमर, नेता प्रतिपक्ष हरिपाल सहित एमपीसीसीआई के उपाध्यक्ष-डॉ. राकेश अग्रवाल, मानसेवी संयुक्त सचिव-पवन कुमार अग्रवाल, पूर्व अध्यक्ष-डॉ. वीरेन्द्र गंगवाल, पूर्व उपाध्यक्ष-जीएल भोजवानी, सुरेश बंसल, पारस जैन, पूर्व मानसेवी संयुक्त सचिव-पीताम्बर लोकवानी, नरेश सिंघल, ललित गुप्ता, जगदीश मित्तल व पूर्व कोषाध्यक्ष-वसंत अग्रवाल के साथ ही कार्यकारिणी समिति सदस्यगण तथा काफी संख्या में व्यापारी एवं उद्योगपति उपस्थित रहे। 

रजिस्ट्रार ऑफ कम्पनीज का ऑफिस ग्वालियर में ही रहेगा :  सिंधिया

मध्य प्रदेश चेम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इण्डस्ट्री द्बारा रजिस्ट्रार ऑफ कम्पनीज के ऑफिस को ग्वालियर से स्थानांतरित करने के निर्णय पर इससे होने वाली परेशानियों से  ज्योतिरादित्य सिंधिया  को अवगत कराया गया था। संवाद कार्यक्रम में  सिंधिया जी द्बारा घोषणा की गई कि उनकी चर्चा वित्त मंत्रालय में हो चुकी है और रजिस्ट्रार ऑफ कम्पनीज का कार्यालय ग्वालियर से स्थानांतरित न होकर ग्वालियर में ही बना रहेगा।

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